Hindi Sad Ghazals – पवन शर्मा परमार्थी

Hindi Sad Ghazals – पवन शर्मा परमार्थी आज मन बहुत दुःखी है ऐसा बुरा हुआ है हाल, आज मन बहुत दुःखी है, सबका जीना हुआ मुहाल,, आज मन बहुत दुःख … Read More

hindi kavita hataasha beech aasha- हताशा बीच आशा 

hindi kavita hataasha beech aasha :   सीताराम चौहान  पथिक   की   स्वरचित  रचना    हताशा  बीच  आशा’  कोरोना  काल   का  सजीव  चित्रण  प्रस्तुत  करती  है।  कविता   का  सन्देश  हर  व्यक्ति  में  … Read More

Hawa par kavita- हवा पर छोटी कविता

Hawa par kavita- हवा पर छोटी कविता हवा /वायु प्राण वायु की अहमियत अब पता चल रही है, कोरोना से हर गली जल रही है। बड़े-बड़े दरख्तों को, काट कर … Read More

Poem on Ram in Hindi – सीयराम नाम दें

Poem on Ram in Hindi छंद-चामर सीयराम नाम दें राम-राम राम-राम राम-राम राम हो। राम-राम राम-राम अंजनी लला कहो।। राम-राम राम-राम कल्पनेश बोल रे। राम-राम नाम का सुदिव्य घोल-घोल रे।। … Read More

प्रतिस्पर्धा | Hindi Tragedy Poem- नहीं है अमर

प्रतिस्पर्धा | Hindi Tragedy Poem- नहीं है अमर १.नहीं है अमर बचपन और बुढ़ापा जन्म और मृत्यु वसंत और पतझड़ शाश्वत सत्य हैं नहीं है अमर यहां कोई तेज हो … Read More

मर्यादा पुरुषोत्तम राम का विरह / सीताराम चौहान पथिक

मर्यादा पुरुषोत्तम राम का विरह मर्यादा पुरुषोत्तम राम का विरह । मैं राम , सिये तुम कहां ॽ कहीं से बोलो । पर्वत नदियो वॄक्षो में गुॅथी लताओं , झर-झर … Read More

Hindi Kavita Prabhu Ram / बाबा कल्पनेश

Hindi Kavita Prabhu Ram छंद-तोटक प्रभु राम प्रभु राम हरो दुख द्वंद सभी। नहिं नाथ रहे दुखियान कभी।। निज भक्ति गुमान भरो हिय में। अनुरक्त न हो लख के तिय … Read More

Hindi kavita Harishchandra Tripathi ‘Harish – सबको दे सद्बुद्धि मातु तू

Hindi kavita Harishchandra Tripathi ‘Harish सबको दे सद्बुद्धि मातु तू, सबको दे सद्बुद्धि मातु तू, तू सबका ऑचल भर दे । द्वेष-घृणा-कुविचार मिटाकर, जन-जन मन निर्मल कर दे । राष्ट्र-सुपथ … Read More

क़लम और तलवार/ सीताराम चौहान पथिक

क़लम और तलवार । आप लिख – लिख कर , क़लम- घिस जाएंगे । ये जो है – चिकने घड़े , रंगत  नयी दिखलाएंगे ।। आज भ्रष्टाचार- बेईमानियो, —    … Read More

Poems of Baba Kalpnesh/ बाबा कल्पनेश की कविताएँ

Poems of Baba Kalpnesh 1.कोरोना कोरोना का भय अति भारी। डरपे संत और नर-नारी।। पुण्य लाभ लेने सब आए। पर कोरोना से घबडाए।। सब पर बीस पड़ा कोरोना। डरे खालसा … Read More

Premlata sharma koee to javaab do/ कोई तो जवाब दो

Premlata sharma koee to javaab do कोई तो जवाब दो कोई तो जवाब दो हवाओं से पूछो घटाओं से पूछो किसने घोला है जहर चांद तारों से पूछो यह खूबसूरत … Read More

Corona Se bachaav par kavita/हरिश्चन्द्र त्रिपाठी ‘हरीश’

Corona Se bachaav par kavita कोरोना से  बचाव पर कविता  मास्क लगाकर,दूरी रखिये , चाहो यदि निज खैर । अनदेखी न करना मेरा – नहीं किसी से बैर ।।1।। स्वस्थ … Read More

Chhand Bhujangaprayaat/ बाबा कल्पनेश

Chhand Bhujangaprayaat छंद-भुजंगप्रयात करो मातु दाया न जागे जगाए न बोले बुलाए। नहीं जीव जैसा कभी दीख पाए।। हिलाओ-डुलाओ कभी भी न डोले। पड़ी लाश जैसा नहीं आँख खोले।। बड़ा … Read More

Man Kee Vivechana/भारमल गर्ग सांचौर

मन की विवेचना Man Kee Vivechana अनुराग अनुभूति मिला आज आनुषंगिक, निरूपम अद्वितीय शून्यता हुआ! देख अपकर्ष अपरिहार्य के साथ।   यदा-कदा अनुकंपा, अनुकृति अहितकर असमयोचित इंद्रियबोध रहित! अक्षम अनभिज्ञ … Read More

Chaamar chhand saar saar shaarade – चामर छंद

Chaamar chhand saar saar shaarade सार-सार शारदे चामर छंद विधान- रगण जगण रगण जगण रगण 212 121 212 121 212 मातु शारदे सदा विराजती रहो हिए। छंद शास्त्र ज्ञान दान … Read More