Sad Hindi kavita | मैं और तुम | सीताराम चौहान पथिक
Sad Hindi kavita | मैं और तुम | मैं और तुम याद तुम्हारी जब जब आई , तड़पा हूं मैं खूब यहां , तुमको जो मंजूर नहीं था , रोया … Read More
Sad Hindi kavita | मैं और तुम | मैं और तुम याद तुम्हारी जब जब आई , तड़पा हूं मैं खूब यहां , तुमको जो मंजूर नहीं था , रोया … Read More
Poems on mother in hindi | माँ पर कविताएं | माँ पर साहित्यिक कविता मेरी प्यारी मां मेरी प्यारी – प्यारी मां , धूप लगे बन जाए छांव जाड़ा जब … Read More
कोरोना की सांझ कोरोना की सांझ कोरोना को रोको ना , मिल कर करो उपाय । अखिल विश्व में खलबली , दुःखी जनों की हाय । सूक्ष्म जीव घातक प्रबल … Read More
शहीदों को समर्पित कविता | Shaheed Diwas Poems in Hindi शहीद की मढ़ी ।। शहीद की मढ़ी पर , आओ, दिया जलाएं । कॄत्यो को याद करके , माला उसे … Read More
Gopi Hindi Geet- गोपी की पुकार / सीताराम चौहान पथिक गोपी की पुकार मेरे मन के वृंदावन में , छेड़ी है छलिया ने तान । रोम- रोम पुलकित हुआ है, … Read More
hindi kavita hataasha beech aasha : सीताराम चौहान पथिक की स्वरचित रचना हताशा बीच आशा’ कोरोना काल का सजीव चित्रण प्रस्तुत करती है। कविता का सन्देश हर व्यक्ति में … Read More
मर्यादा पुरुषोत्तम राम का विरह मर्यादा पुरुषोत्तम राम का विरह । मैं राम , सिये तुम कहां ॽ कहीं से बोलो । पर्वत नदियो वॄक्षो में गुॅथी लताओं , झर-झर … Read More
क़लम और तलवार । आप लिख – लिख कर , क़लम- घिस जाएंगे । ये जो है – चिकने घड़े , रंगत नयी दिखलाएंगे ।। आज भ्रष्टाचार- बेईमानियो, — … Read More
Ish-vandana kavita : दिल्ली के वरिष्ठ साहित्यकार सीताराम चौहान पथिक की रचना ईश- वंदना कविता में नव-युवाओ और राष्ट्रीय नेताओं को संमार्ग पर चलने और भारतीय संस्कृति अपनाने की प्रार्थना … Read More
Indian Culture Kavita Hindi भारतीय संस्कृति भारत- भाषा- संस्कृति , वेद — ज्ञान– भण्डार । गौ – गंगा – गीता त्रिविध , हैं अमूल्य उपहार । गुरु – … Read More
Akhabaar Baal Kavita अखबार बाल – कविता बाबा का अखबार खो गया , पारा उनका पार हो गया । मम्मी- पापा पर वह बिगड़े , ला – परवाह हो, तभी … Read More
छात्र की वेदना (बाल कविता ) Baal kavita chhaatr kee vedana बस्ते भारी हो गये , कोई तनिक उठाए । शिक्षा के अधिकारियों , कुछ तो करो उपाय । पीने … Read More
जोगिन ऊर्मिला । (Jogin Urmila) मैं कैसे कहती — आर्य , मुझे संग ले लो । अपनी पीड़ाएं – क्लेश , मुझे तुम दे दो … Read More
मृत्यु की हे अप्सरा (Mrtyu kee he apsara) मॄत्यु की हे अप्सरा , आना पथिक के पास । हॄदय में श्री राम हो , सर्वत्र उनका वास । मॄत्यु की—— … Read More
गिरावट ।। (Hindi kavita Giraavat) हम रहे ना हम, तुम रहे ना तुम , जानवर थे हम , जानवर की दुम । इन्सान को क्या हो गया , हैवान अब … Read More