Deep jale ujiyara ho-हरिश्चंद्र त्रिपाठी

दीप जले उजियारा हो ।  (Deep jale ujiyara ho) हर चौखट पर दीप जले उजियारा हो, साथ  बढ़ें सब, सबमें  भाईचारा  हो। गहन तमस की निद्रा तोड़ो जागो तुम, जीवन … Read More