Ram Bhakti Geet || Ram Geet राम गीत | परम हंस मौर्य गीतकार

1.राम ही राम जपे जग सारा राम ही राम जपे जग सारा।राम बिना नहीं कोई हमारा।राम कृपा हो जाए जिस पर,हर पल मिलता उसे सहारा।राम ही राम जपे जग सारा। … Read More

सृजन-गीत कब गायेगा | हरिश्चन्द्र त्रिपाठी ‘हरीश’

सृजन– गीत कब गायेगा | हरिश्चन्द्र त्रिपाठी ‘हरीश’ विश्व परिदृश्य का समसामयिक गीत सृजन – गीत कब गायेगा। कोई बता दे मानवता का ,परचम कब लहरायेगा,तहस-नहस को आतुर मानव,सृजन-गीत कब … Read More

Baba kalpnesh ke maa ke geet/माँ ज्ञान दे दे

Baba kalpnesh ke maa ke geet    1.गीत लिखना चाहता हूँ        हरिगीतिका के छंद में मैं, गीत लिखना चाहता हूँ। हर मानवों का प्यार पा मैं, मीत … Read More

Mudit Mana Maa – मुदित मना माँ /बाबा कल्पनेश

Mudit Mana Maa – मुदित मना माँ /बाबा कल्पनेश   उज्ज्वला छंद   मुदित मना माँ   चार चरण दो–दो चरण सम तुकान्त मापनी-212  212 212 (अंत 2 1 2 अनिवार्य … Read More

baba kalpnesh patriotic geet | वतन पूँछे दुखी होकर अखंडित कब बनाओगे/बाबा कल्पनेश

baba kalpnesh patriotic geet-वतन पूँछे दुखी होकर अखंडित कब बनाओगे/बाबा कल्पनेश वतन पूँछे दुखी होकर अखंडित कब बनाओगे रचे जो कीर्ति की माला उसी की कीर्ति होती है। उसी की कीर्ति गायन से मनुजता प्रीति बोती है।। कभी यह विश्व लेकर के हमीं से गीत गाता था। वही निज अंक में भर कर धरा अधुना सँजोती है।।   सनातन से अखंडित है यहीं के प्रेम की धारा। यहीं से तड़तड़ातड़ टूटती है मनुज की कारा।। हमारा ज्ञान लेकर के रचे सद्ग्रंथ दुनिया ने। यहीं से धर्म का उद्भव जगत ये जानता सारा।।   भगत-आजाद जो भोगे उसे क्या भूल जाना है। अभी आतंक सीमा पर बढ़ा उसको मिटाना है।। … Read More

narendra singh baghel ka geet/ नरेन्द्र सिंह बघेल का गीत

 narendra singh baghel  ka  geet कितनी रातें छली गयीं कितने दर्द छुपाए दिल में,   कितनी रातें चली गयीं। अलसाये अनुबंधों से फिर, कितनी रातें छली गयीं।।   हमने जीवन में देखा था, सुंदर … Read More

Baba kalpnesh ke geet-यह कैसी नादानी/बाबा कल्पनेश

Baba kalpnesh ke geet       यह कैसी नादानी      जल से भरी नदी पर प्यासी,खोज रही है पानी, अपना घाट छोड़ कर दर-दर,यह कैसी नादानी। कुछ दिन … Read More

विश्व में श्रेष्ठ भारत- डॉ. रसिक किशोर सिंह नीरज

डॉ. रसिक किशोर सिंह ‘नीरज’ की इलाहाबाद से वर्ष 2003 में प्रकाशित पुस्तक ‘अभिलाषायें स्वर की’ काव्य संकलन में   अंतर्राष्ट्रीय ख्याति प्राप्त गीत कारों ,साहित्यकारों ने उनके साहित्य पर अपनी सम्मति प्रकट करते … Read More

bachpan geet-दुर्गा शंकर वर्मा “दुर्गेश”

 bachpan geet-दुर्गा शंकर वर्मा “दुर्गेश” bachpan geet durgesh verma   बचपन गीत —————————–   आजा बचपन लौट हमारे द्वारे।   कागज की एक नाव लिए मैं बैठा हूं,   साथ … Read More

Dr rasik kishore singh neeraj ka rachna sansar

 Dr rasik kishore singh neeraj ka rachna sansar Dr rasik kishore neeraj rachna sansar   डॉ. रसिक किशोर सिंह ‘नीरज’ की इलाहाबाद से वर्ष 2003 में प्रकाशित पुस्तक ‘अभिलाषायें स्वर … Read More